आज से Petrol-Diesel सस्ता: ₹0.24/L तक की गिरावट – जल्दी चेक करें नई कीमतें

मार्च 2025 में भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में मामूली गिरावट देखने को मिली है। तेल विपणन कंपनियों (OMCs) ने ताजा दरें जारी की हैं, जो 5 मार्च 2025 से लागू हो गई हैं। यह बदलाव अंतरराष्ट्रीय कच्चे तेल की कीमतों में स्थिरता और भारतीय रुपये की मजबूती के कारण हुआ है।

पेट्रोल और डीजल की कीमतें हर दिन सुबह 6 बजे अपडेट होती हैं। इन दरों को अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत, मुद्रा विनिमय दर, और सरकार द्वारा लगाए गए करों के आधार पर तय किया जाता है। इस लेख में हम आपको मार्च 2025 के पेट्रोल-डीजल की नई कीमतों, शहरवार दरों, और इन पर असर डालने वाले कारकों के बारे में विस्तार से जानकारी देंगे।

पेट्रोल-डीजल की नई कीमतें: मुख्य विवरण

विवरणजानकारी
पेट्रोल की कमी₹0.07 प्रति लीटर
डीजल की कमी₹0.18 से ₹0.24 प्रति लीटर
लागू तिथि5 मार्च 2025
प्रमुख कारणकच्चे तेल की कीमतों में गिरावट और रुपये की मजबूती
सबसे सस्ता पेट्रोलपोर्ट ब्लेयर (₹82.46 प्रति लीटर)
सबसे महंगा पेट्रोलहैदराबाद (₹107.41 प्रति लीटर)

शहरवार पेट्रोल-डीजल की कीमतें

Advertisements

भारत के प्रमुख शहरों में पेट्रोल और डीजल की कीमतें निम्नलिखित हैं:

शहरपेट्रोल (₹/लीटर)डीजल (₹/लीटर)
दिल्ली₹94.72₹87.62
मुंबई₹103.44₹89.97
चेन्नई₹100.85₹92.44
कोलकाता₹103.94₹90.76
हैदराबाद₹107.41₹95.65
जयपुर₹104.88₹90.36

पेट्रोल-डीजल की कीमतों में गिरावट का कारण

मार्च 2025 में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में गिरावट के पीछे कई प्रमुख कारण हैं:

1.कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट:

  • अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत $70 प्रति बैरल तक आ गई है।
  • इससे भारत जैसे आयातक देशों को राहत मिली है।

2.रुपये की मजबूती:

  • डॉलर के मुकाबले भारतीय रुपये ने मजबूती दिखाई है।
  • इससे आयात लागत कम हुई है।

3.स्थानीय करों का समायोजन:

  • कुछ राज्यों ने वैट (VAT) और एक्साइज ड्यूटी में कटौती की है।

4.और आपूर्ति का संतुलन:

  • वैश्विक स्तर पर ईंधन की मांग स्थिर रही है, जिससे कीमतें नियंत्रण में हैं।

पेट्रोल-डीजल के दाम कैसे तय होते हैं?

पेट्रोल और डीजल की कीमतें कई कारकों पर निर्भर करती हैं:

1.कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमत:

  • भारत अपनी जरूरत का लगभग 85% कच्चा तेल आयात करता है।
  • अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत का सीधा असर घरेलू ईंधन दरों पर पड़ता है।

2.मुद्रा विनिमय दर:

  • रुपये और डॉलर के बीच विनिमय दर भी ईंधन लागत को प्रभावित करती है।

3.टैक्स:

  • केंद्र और राज्य सरकार द्वारा लगाए गए टैक्स (एक्साइज ड्यूटी और वैट) ईंधन के अंतिम मूल्य का बड़ा हिस्सा होते हैं।

4.रिफाइनिंग और परिवहन लागत:

  • कच्चे तेल को रिफाइन करने और उपभोक्ताओं तक पहुंचाने में आने वाली लागत भी शामिल होती है।

मार्च 2025: पेट्रोल-डीजल पर टैक्स का प्रभाव

भारत में पेट्रोल-डीजल पर केंद्र और राज्य सरकार दोनों टैक्स लगाते हैं:

1.केंद्र सरकार:

  • एक्साइज ड्यूटी लगाती है, जो पूरे देश में समान होती है।

2.राज्य सरकार:

  • वैट लगाती है, जो हर राज्य में अलग-अलग होता है।

टैक्स का योगदान

घटकयोगदान (%)
कच्चा तेल40%
टैक्स (एक्साइज + वैट)50%
रिफाइनिंग और परिवहन लागत10%

पेट्रोल-डीजल सस्ता होने से क्या फायदे होंगे?

1.आर्थिक राहत:

  • आम जनता को ईंधन खर्च कम होने से राहत मिलेगी।

2.मूल्य स्थिरता:

  • परिवहन लागत कम होने से आवश्यक वस्तुओं के दाम स्थिर रहेंगे।

3.औद्योगिक लाभ:

  • उद्योगों को कम लागत पर ईंधन मिलने से उत्पादन लागत घटेगी।

4.पर्यावरण संरक्षण:

  • सस्ती दरों पर क्लीनर फ्यूल अपनाने का प्रोत्साहन मिलेगा।

क्या आगे भी सस्ता होगा ईंधन?

भविष्य में पेट्रोल-डीजल के दाम कई कारकों पर निर्भर करेंगे:

  1. कच्चे तेल की वैश्विक मांग।
  2. डॉलर के मुकाबले रुपये का प्रदर्शन।
  3. सरकार द्वारा लगाए गए टैक्स में बदलाव।

विशेषज्ञों का मानना है कि यदि कच्चा तेल $65 प्रति बैरल तक गिरता है तो भारत में ईंधन और सस्ता हो सकता है।

निष्कर्ष

मार्च 2025 में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में आई गिरावट आम जनता के लिए राहत भरी खबर है। यह कदम न केवल आर्थिक रूप से फायदेमंद होगा, बल्कि देश के परिवहन और औद्योगिक क्षेत्रों को भी बढ़ावा देगा। हालांकि, इन दरों को स्थिर बनाए रखने के लिए सरकार और वैश्विक बाजार दोनों का सहयोग आवश्यक होगा।

Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी विभिन्न स्रोतों पर आधारित है और केवल सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए प्रस्तुत की गई है। कृपया किसी भी निर्णय लेने से पहले आधिकारिक स्रोत या संबंधित विभाग से जानकारी सत्यापित करें।

Author

Advertisements
Advertisements

Leave a Comment

Join Telegram